टोक्यो ओलंपिक में भारतीय पुरुष हॉकी टीम ने कांस्य पदक पर अपना नाम दर्ज कर लिया हैं, इस दौरान टीम ने जर्मनी को ब्रॉन्ज मेडल के मुकाबले में 5-4 से हराया. आपको बता दें, 1980 के बाद हॉकी टीम ने मेडल जीता हैं. इतिहास में यह ओवरऑल ओलंपिक हॉकी का 12वां मेडल है. भारतीय टीम मैच में एक समय 1-3 से पीछे थी. इसके बाद टीम ने धमाकेदार वापसी करते हुए मुकाबला जीतकर हासिल लिया. महिला हॉकी टीम भी मेडल की रेस में है. उसे भी ब्रॉन्ज का मुकाबला शुक्रवार को खेलना है.

वहीं, जर्मनी ने मुकाबले में महत्वपूर्ण आक्रामक शुरुआत की. जर्मनी के उरुज ने गोल कर दूसरे मिनट में ही टीम को 1-0 की बढ़त दिलाई. पहले जर्मनी की टीम क्वार्टर तक  1-0 से आगे थी. सिमरनजीत सिंह ने 17वें मिनट में गोल करके स्कोर 1-1 से बराबर कर दिया. इसके बाद जर्मनी की तरफ से 24वें मिनट में निकोलस वेलन ने और 25वें मिनट में बेनिडिट फुर्क ने गोल करके टीम को 3-1 की बढ़त दिलाई.

मैच के अंतिम क्वार्टर में भारत और जर्मनी दोनों ने धावा बोला. लुका विनफेडर ने 48वें मिनट में गोल करके स्कोर 4-5 कर दिया. दरअसल, इसके बाद दोनों ही टीमें गोल नहीं कर सकीं और भारत ने मुकाबला 5-4 से जीतकर अपने नाम कर लिया.